आत्मनिर्भर भारत योजना क्या है | What is self-reliant india scheme
क्या आप लोग जानते है आत्मनिर्भर भारत योजना क्या है
| चलिए आज हम जानेंगे आत्मनिर्भर भारत योजना
आत्मनिर्भर भारत योजना क्या है
आत्मनिर्भर भारत एक योजना है भारत सरकार के द्वारा देश के लोगो को खुद निर्भर बनाने की | कोरोना की तबाही से लोगो का बहुत नुक्सान हुआ है उस नुक्सान की भरपाई से लड़ने के लिए भारत सरकार ने एक योजना का घोषणा की है जिससे देश के अधिक से अधिक लोग खुदपे निर्भर होंगे नाकि देश की सरकारो पे |
आत्मनिर्भर भारत एक भारत सरकार की तरफ से रहत पैकेज है लोगो की मदद के लिए जोकि वर्त्तमान में लोगो के लिए बहुत जरुरी है | लोगो के मदद के लिए भारत की सरकार ने 20 लाख करोड़ के राहत पैकेज का एलान किया है |
किसानो को आत्मनिर्भर भारत योजना से क्या लाभ होगा
आत्मनिर्भर भारत योजना में भारत सरकार ने हर तबके को ध्यान में रखकर किसानो के लिए भी राहत पैकेज में से एक बड़ी रकम की मदद देने का एलान किया है ताकि किसानों का कोरोना की तबाही की वजह से जो नुक्सान हुआ है उसकी जल्द से जल्द और ज्यादा से ज्यादा भरपाई हो जाये ताकि किसानो की ज़िन्दगी पहले की तरह खुशाल हो जाए |
भारत सरकार ने 3 करोड़ किसानो की मदद के लिए 4.22 लाख करोड़ का लोन दिए और उनकी तीन महीनों तक लोन के भारत सरकार के दिए हुए मदद के रूप में पैसे लौटाने की जरुरत नहीं है |
आत्मनिर्भर भारत योजना के तहत भारत सरकार की कोसिस ग्रमीण भारत और किसानो की मदद पहुचाये जा सके | भारत एक कृषि प्रधान देश है किसानो का आत्मनिर्भर होना विश्वगुरु भारत के लिए बहुत ही ज्यादा जरुरी है
आत्मनिर्भर भारत योजना से गरीबो को क्या लाभ है
आत्मनिर्भर भारत योजना में भारत सरकार ने हर तबके को ध्यान में रखकर शहरी प्रवासी मजदूरों और गरीबो के लिए भी राहत पैकेज में से एक बड़ी रकम की मदद देने का एलान किया है ताकि प्रवासी मजदूरों और गरीबो का कोरोना की तबाही की वजह से जो नुक्सान हुआ है उसकी जल्द से जल्द और ज्यादा से ज्यादा भरपाई हो जाये ताकि प्रवासी मजदूरों और गरीबो की ज़िन्दगी पहले की तरह खुशाल हो जाए |
भारत सरकार ने राज्ये सरकारो को 12000 करोड़ रुपया की रकम देकर प्रवासी मजदूरों और गरीबो की राज्ये सरकारों के द्वारा खाने पिने और रहने का इंतज़ाम किया है ताकि प्रवासी मजदूरों और गरीबोो को कोरोना महामारी की वजह से परेशानिया का सामना कमसे काम करना पड़े | भारत सर्कार ने जगह जगह प्रवासी मजदूरों और गरीबो के लिए नाईट शेल्टर बनके जहा उनके खाने रहने का इंतज़ाम किया |
मनरेगा के तहत काम करने वाले को होगा फायदा
भारत सरकार ने मनरेगा में इस बार 10 हज़ार करोड़ की रकम दी है
1.86 लाख पंचायत में 2.50 करोड़ लोगो ने इस बार मनरेगा योजना के तहत 100 दिन काम का के लिए अप्लाई किया जो की पिछली साल से 40 से 50 गुना ज्यादा है |
मनरेगा में बढ़ा आवंटन
सरकार ने मनरेगा के माध्यम से पहल की है, सरकार ने बताया
कि 13 मई तक मनरेगा में 14.62 करोड़ मानव दिवस काम बनाया गया| इस तारीख तक वास्तव में मनरेगा पर खर्च ₹10,000 करोड़ हो चुका |
अब देश के 1.87 लाख ग्राम पंचायत में 2.33 करोड़ लोगों काम के लिए आवेदन किया जिन्हें काम मिल गया|
पिछले साल की तुलना में साल मई में 50 फ़ीसदी ज्यादा लोगों ने मनरेगा में काम के लिए आवेदन किया|
लेबर कोड से मिलेगी मदद
पिछले 2 महीने के दौरान प्रवासी मजदूर और शहरी गरीब लोगों के लिए उपाय किए गए उन्हें कोरोना के बाद के दौर में जीने में आसानी हो,
इसमें प्रवासी मजदूर के रहने के लिए स्टेट डिजास्टर रिस्पांस फंड के रकम के उपयोग की इजाजत दी गई है
जिससे कि उनके लिए खाने और पानी की व्यवस्था की , सरकार ने राज्यों को ₹11000 करोड़ दिए,
जिससे कि वह स्टेट डिजास्टर रिस्पांस फंड की मदद से इनके लिए काम कर सकें| होमलेस सेंटर्स में रहने वाले लोगों के लिए दिन में तीन बार खाने की व्यवस्था की गई है.
12,000 सेल्फ हेल्प ग्रुप ने तीन करोड़ मास्क और सवा लाख लीटर सेनेटाइजर बनाए हैं, इसके माध्यम से शहरी गरीबों को काम उपलब्ध कराने की कोशिश की गई |
देश में एक मजदूरी की व्यवस्था करने में मदद मिल सकती है.
- सभी श्रमिकों को समय पर भुगतान कराने में भी मदद मिलने की उम्मीद है. इस समय न्यूनतम वेतन का फायदा सिर्फ 30 फ़ीसदी श्रमिक पाते हैं.
- सभी मजदूरों को नियुक्ति के लिए अपॉइंटमेंट लेटर दिया
- साथ ही हर इम्पलॉई का सालाना हेल्थ चेकअप अनिवार्य कर दिया जाएगा.
इस लेख में, हमने जाना आत्मनिर्भर भारत योजना क्या है, किसान होंगे आत्मनिर्भर, आत्मनिर्भर किसान, समृद्ध भारत, गरीब बनेंगे आत्मनिर्भर, मनरेगा में बढ़ा आवंटन, लेबर कोड से मिलेगी मदद, देश में एक न्यूनतम मजदूरी की व्यवस्था करने में मदद मिल सकती है. ये लेख आपको कैसा लगा हमे बताने के लिए हमसे संपर्क करे